चार दोस्तों की एकता की कहानी | Moral stories in Hindi for class 5

Moral stories in Hindi for class 5 – एक बार की बात है जब जंगल में चार जंगली भैंस बहुत अच्छे दोस्त रहते थे । वो जहां भी जाते हमेशा साथ में ही जाते, हमेशा साथ में ही रहते खासकर जब वो जंगल में घास चरने जाते ।

 वो चारो एक दुसरे पर इतना विश्वास करते की वो अपने झुण्ड से अलग होकर जंगल के अंदर भी चले जाते घास चरने के लिए ।

जंगल में बड़े बड़े जानवर भी थे जिनसे उन्हें खतरा था लेकिन वो चारो हमेशा साथ रहकर एक दुसरे की रक्षा करते थे ।

इसी तरह एक बार वो चारो जंगल के अंदर घास चर रहे थे तभी वहां एक शेर आ जाता है और चारो भैस में से एक पर हमला कर देता है ।

वो भैस ज़ोर से चिल्लाता है और उसके बाकि तीनो दोस्त वहां पर आ जाते है और मिलकर शेर पर हमला कर देते है ।

शेर उन तीनो भैंस के हमले को सम्हाल नहीं पाता और वहां से भाग जाता है ।

इस घटना से शेर को बड़ा अपमानित महसूस होता है कि वो जंगल का राजा होकर जंगली भैसो से हार गया और अगर ये बात जंगल में फ़ैल गई तो सारे जानवर उसका मज़ाक उड़ाएंगे ।

अगले दिन शेर एक लोमड़ी को बुलाता है और उसे कहता है कि उन चारो भैसों को जंगल के और अंदर ले कर आओ ताकि मुझे उनपर हमला करने में आसनी हो और मै उनका शिकार कर पाऊ ।

लोमड़ी उन चारो भैसों के पास जाती है और कहती है कि जंगल के थोड़े और अंदर घास का एक बड़ा सा मैदान है जहा कोई भी नहीं जाता है जिसके कारण वहां की घास एकदम हरी भरी और बड़ी है ।

लोमड़ी की बात सुनकर चारो भैसों के मन में लालच आ जाता है और वो लोमड़ी की बताई हुई जगह पर जाने को तैयार हो जाते है ।

जब वो उस घास के मैदान पर पहुंचते है तो देखते है की सच में वहां बहुत ही हरी भरी घास है और वहां कोई दूसरा जानवर भी नहीं है ।

लेकिन चारो में से एक भैस के दिमाग में एक बात आती है कि लोमड़ी ने आज से पहले तो कभी उनकी मदद नहीं की है तो आज कैसे उसने उनकी मदद कर दी ।

वह अपने तीनो दोस्तों से कहता है कि हम इस जगह पर पहली बार आए है और हमे इस जगह के बारे में कुछ भी नहीं पता है कि यहाँ पर हमे कितना खतरा है या हम कितने सुरक्षित है ।

हम ऐसा करते है कि पहले हम में से तीन घास खाएंगे और एक पहरा देगा और जब वो तीन घास खा लेंगे उसके बाद जो पहरा दे रहा था वो घास खाएगा और बाकी तीन पहरा देंगे । इस बात पर बाकी के भैस सहमति जताते है।

लेकिन अब बात ये आती है कि सबसे पहले पहरा कौन देगा । क्योकि वो चारो हरे भरे घास के लालच में जंगल के अंदर बहुत दूर आ गए थे जिसके कारण वो चारो ही बहुत भूखे थे ।

पहला भैस बोलता है कि मुझे बहुत भूख लगी है तो मै पहले पहरा नहीं दूंगा, इसी तरह दूसरा और तीसरा भैस भी कहता है की वो पहरा नहीं देंगे ।

इसे देखकर चौथे भैस को बहुत ही गुस्सा आता है और वो भी कहता है कि मै भी पहरा नहीं दूंगा ।

अब चारो एक दुसरे से गुस्सा हो कर अलग अलग घास चरने चले जाते है ।

इन सारी चीज़ो को वह लोमड़ी एक पेड़ के पीछे छुपकर देख रही होती है और इसी बात का इंतज़ार कर रही होती है कि कब वो चारो भैस एक दुसरे से अलग हो जाए और फिर जैसे ही ऐसा होता है वो भाग कर शेर के पास जाती है और उसे बताती कि शेर के पास उन भैसो का शिकार करने का बहुत ही अच्छा मौका है ।

शेर चुपके से वह पहुँचता है और चारो भैंसो को एक एक कर के अपना शिकार बना लेता है क्योकि चारो एक दुसरे के साथ ना होकर अलग अलग घास चार रहे थे जिसके कारण वो एक दुसरे कि मदद नहीं कर पाए और शेर का शिकार हो गए ।

इस Moral stories in Hindi for class 5 चार दोस्तों की एकता की कहानी से हमें यह सिख मिलती है कि एकता में हमेशा बहुत ही शक्ति होती है क्योकि जब तक वो चारो भैस एक दुसरे के साथ थे उनपर कोई भी जानवर हमला नहीं कर पाया लेकिन जैसे ही वो चारो अलग अलग होते है वो शेर का शिकार बन जाते है ।

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